नई दिल्ली स्थित ‘ऑल इंडिया मेडिकल साइंसेज’ (AIIMS) में इलाज करा रहे पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का निधन हो गया है. मनमोहन सिंह कई सारी बीमारियों से जूझ रहे थें. साल 2009 में उनकी बाईपास सर्जरी हुई थी. रिपोर्ट के मुताबिक प्रधानमंत्री के दिल में कई ब्लॉकेज का पता चला था. मनमोहन सिंह का दिल से जुड़ी बीमारियों का इतिहास रहा है. 1990 में भी उनकी बाईपास सर्जरी हुई थी और 2003 में स्टेंट प्रत्यारोपण के लिए एंजियोप्लास्टी हुई थी.
मनमोहन सिंह की इतनी बार हुई थी बायपास सर्जरी
बाईपास सर्जरी दिल की कोरोनरी धमनियों में ब्लड सर्कुलेशन को ठीक करने की प्रकिया है. इसे कोरोनरी धमनी बाईपास ग्राफ़्टिंग (CABG) या हार्ट बाईपास सर्जरी के नाम से भी जाना जाता है. इस सर्जरी में मरीज़ के शरीर के किसी दूसरे हिस्से से स्वस्थ रक्त वाहिका का एक टुकड़ा लिया जाता है और उसे अवरुद्ध धमनी के ऊपर और नीचे जोड़ा जाता है. इससे रक्त और ऑक्सीजन हृदय तक पहुंच पाते हैं.
जानें किसी खतरनाक है बायपास सर्जरी?
जब हार्ट में ब्लॉकेज की वजह से ब्लड फ्लो सही तरह नहीं हो पाता है तब बायपास सर्जरी की जरूरत पड़ती है. जिससे काफी फायदा मिल सकता है. हालांकि, कुछ लोगों का मानना है कि बायपास सर्जरी के बाद नॉर्मल लाइफ नहीं जिया जा सकता है. जानिए क्या कहते हैं डॉक्टर्स…
डॉक्टरों का कहना है कि आजकल हार्ट बायपास सर्जरी हर उम्र के लिए आम हो गई है. गलत खानपान, मोटापा, हाई ब्लड प्रेशर की वजह से युवा भी हार्ट डिजीज के हाई रिस्क पर हैं. इसलिए ऐसा कहना है कि सिर्फ उम्रदराज लोगों को ही हार्ट की बायपास सर्जरी करवानी पड़ती है, पूरी तरह गलत है.
डॉक्टरों का कहना है कि हार्ट बायपास सर्जरी से हार्ट अटैक जैसी दिल की बीमारियों का खतरा कम हो सकता है लेकिन उन्हें पूरी तरह खत्म नहीं किया जा सकता है. इसलिए सर्जरी के बाद भी सावधानी रखनी पड़ती है और खानपान का खास ख्याल रखना पड़ता है. वरना कभी भी हार्ट डिजीज बढ़ सकती है.
Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. आप किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.
ये भी पढ़ें: Microwave Oven Day 2024 : क्या वाकई माइक्रोवेव बना सकता है बीमार, जानें
Check out below Health Tools-
Calculate Your Body Mass Index ( BMI )